औरंगाबाद

पुलिस के नाम का सहारा लेकर रात्रि में दरवाजे पर दस्तक दे रहे है अपराधी,अगर संभल गए तो ठीक, नहीं तो काम तमाम

औरंगाबाद। रफीगंज प्रखंड के बीबीपुर गांव निवासी व सामाजिक कार्यकर्ता एवं जिले के समृद्ध किसान रंजय कुमार सिंह ने रफीगंज थानाध्यक्ष को एक आवेदन देकर अपने भाई के घर 20 मार्च की सुबह 4:30 बजे चार पहिया वाहन से आए चार व्यक्तियों की पहचान कर कार्रवाई की मांग की है। श्री सिंह ने बताया कि उन्होंने अपने आवेदन के माध्यम से रफीगंज थानाध्यक्ष को यह जानकारी दी है कि 20 मार्च की सुबह 4:30 बजे चार की संख्या में लोग उनके भाई अनूप सिंह के घर आए और बोले कि दरवाजा खोलिए बड़ा बाबू बुला रहे हैं। लेकिन मेरे परिवार के सदस्यों को अनिष्ट की आशंका हुई और उनके द्वारा बार बार पुकारे जाने के बाद दरवाजा नहीं खोला गया।

 

 

सुबह होने के बाद जब इसकी जानकारी के लिए रफीगंज थाना अध्यक्ष से बात की गई तो उन्होंने कहा कि उनके द्वारा किसी को भी मेरे घर नहीं भेजा गया था। श्री सिंह ने बताया कि उनके घर सीसीटीवी कैमरा लगा हुआ है।सीसीटीवी फुटेज में यह स्पष्ट दिख रहा है कि चार पहिया वाहन से 4 लोग आए हुए हैं और घर का दरवाजा खुलवाने का प्रयास कर रहे हैं।लेकिन जब उनकी मंशा पूरी नहीं हुई तो वापस चले गए।

 

रंजय सिंह ने बताया कि उन्हें आशंका है कि उनके भाई के घर आने वाले लोग अपराधी किस्म के होंगे जो पुलिस के नाम का सहारा लेकर दरवाजा खुलवा किसी घटना को अंजाम देने के फिराक में होंगे। मगर उन्हें सफलता नहीं मिली तो वहां से निकल लिए।

 

इस मामले का सीसीटीवी फुटेज भी श्री सिंह ने रफीगंज थानाध्यक्ष को उपलब्ध कराया है। परंतु उन्होंने बड़े अफसोस से कहा कि इस मामले में रफीगंज थानाध्यक्ष के द्वारा कोई कार्यवाही नहीं की गई।ऐसी स्थिति में मजबूरन उन्हें इसकी सूचना एसपी को देनी पड़ी।

 

श्री सिंह ने एसपी को सूचना देते हुए बताया है कि उनका परिवार पिछले कई दशक से लगातार नक्सलियों के खिलाफ लड़ाइयां लड़ी है और इस बात को नक्सलियों के आतंक से प्रभावित जिले के लोगों के साथ साथ कई प्रबुद्ध एवं सामाजिक कार्यकर्ता भी जानते हैं।

 

श्री सिंह ने बताया कि उन्हें ऐसी सूचना भी मिली है कि प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के नेता गौतम पासवान लुटुआ पॉइंट के अनिल यादव को उनके इलाके में रेकी कर उनकी हत्या की साजिश रच रहा है। श्री सिंह ने बताया कि इसके पूर्व भी उनका परिवार लगातार नक्सलियों के निशाने पर भी रहा है और कई बार उन्हें खदेड़ा गया है। लेकिन अब यह सवाल उठता है कि आखिर वे कौन लोग थे जो पुलिस के नाम का सहारा लेकर गांव में आए हुए थे।उन्हे आशंका है कि या तो नक्सली संगठन के लोग छद्म वेश अपनाकर किसी वारदात को अंजाम देने निकले हैं या फिर कोई बड़ा अपराधी जिसे पुलिस का तनिक भय नहीं है वह रात्रि में ऐसे लोगों को टारगेट कर बड़े घटना को किसी के इशारे पर अंजाम देने के फिराक में थे।

 

 

श्री सिंह ने इस मामले में एसपी से अनुरोध किया है कि वे इस मामले।को संज्ञान में लेकर जांच करे ताकि ऐसे लोग पकड़ में आए और उनके मंसूबों से लोग अवगत हो सके।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

इसे भी पढ़ें

Back to top button

You cannot copy content of this page